
Holi देश भर में होली को लेकर उत्साह है और चारों तरफ रंगों के त्योहार को मनाया जा रहा है। लेकिन इस बीच बिहार 5 गांव में होली खेलने पर बैन लगा हुआ है। खबरों के मुताबिक इन गांवों में होली के दिन चूल्हा भी नहीं जलता है। इन गांवों के लोग शाकाहारी बासी खाना खाते हैं। मांस और मदिरा पर पूर्णरूप से प्रतिबंध है। इतना ही नहीं गांव में फूहड़ गीत भी नहीं होते हैं।
ये हैं गांव?
बिहारशरीफ के पतुआना, ढिबरापर, बासवन बीघा, नकटपुरा और डेढ़धरा गांव में होली नहीं खेली जाती है। मंदिर के पुजारी कैलू यादव का कहना है कि यह परंपरा सालों पुरानी है। एक सिद्ध पुरुष संत बाबा सालों पहले गांव में आए थे। उन्होंने लोगों से कहा था कि यह कैसा त्योहार है। इस त्योहार में लोग नशा करते हैं और फूहड़ गाने पर झूमते हैं। संत बाबा ने जीवित समाधि लेते वक्त अपने शिष्यों को यह उपदेश दिया था। उनके नाम पर बने मंदिर में सैकड़ों की संख्या में श्रद्धालु अपनी मन्नत को लेकर पहुंचते है।